नई दिल्ली, राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (NIA) ने पाकिस्तानी जासूसी गिरोह के जरिए रक्षा संबंधी गोपनीय जानकारी लीक होने के मामले की जांच के लिए 7 राज्यों में कई स्थानों पर छापेमारी की है. गुरुवार को जारी एक आधिकारिक बयान में बताया गया कि NIA की टीम ने बुधवार को जिन परिसरों में छापे मारे वे उन संदिग्ध लोगों से जुड़े थे, जिन्हें भारत में जासूसी गतिविधियां चलाने के लिए कथित तौर पर पाकिस्तान से धन प्राप्त हुआ था.
16 स्थानों पर की गई छापेमारी
NIA के बयान में कहा गया, ”पाकिस्तानी ISI जासूसी गिरोह के जरिए रक्षा संबंधी खुफिया जानकारी लीक होने से जुड़े मामले में गुजरात, कर्नाटक, केरल, तेलंगाना, उत्तर प्रदेश, बिहार और हरियाणा में 16 स्थानों पर छापे मारे गए.”
22 मोबाइल और कई संवेदनशील दस्तावेज बरामद
NIA की छापेमारी के दौरान 22 मोबाइल फोन और कई संवेदनशील दस्तावेज जब्त किए गए. NIA ने जुलाई 2023 में मामले को अपने हाथ में लिया था, जिसे मूल रूप से जनवरी 2021 में आंध्र प्रदेश के ‘काउंटर-इंटेलिजेंस सेल’ ने दर्ज किया था.
NIA की जांच में हुआ ये खुलासा
संघीय जांच एजेंसी ने कहा कि यह मामला सीमा पार से रची गई भारत विरोधी साजिश के तहत भारतीय नौसेना से संबंधित संवेदनशील महत्वपूर्ण जानकारी लीक करने से जुड़ा है. NIA ने 19 जुलाई 2023 को 2 आरोपियों के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया था, जिसमें एक फरार पाकिस्तानी नागरिक मीर बलज खान भी शामिल था.एनआईए ने कहा कि जांच से पता चला कि खान, गिरफ्तार आरोपी आकाश सोलंकी के साथ जासूसी गिरोह में शामिल था.
NIA ने 6 नवंबर, 2023 को 2 अन्य आरोपियों मनमोहन सुरेंद्र पांडा और अल्वेन के खिलाफ पूरक आरोप पत्र दायर किया. बयान में कहा गया है कि पांडा को गिरफ्तार कर लिया गया है, जबकि पाकिस्तानी जासूसी गिरोह का सदस्य अल्वेन फरार है. एनआईए ने पाकिस्तानी खुफिया एजेंट के साथ साजिश रचने के आरोप में एक आरोपी अमन सलीम शेख के खिलाफ मई 2024 में दूसरा पूरक आरोप पत्र दायर किया.