लखनऊ। बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने अपने 68वें जन्मदिन पर सोमवार को यहां कहा कि उनकी पार्टी 2024 का लोकसभा चुनाव अकेले ही लड़ेगी और जातिवादी, पूंजीवादी, सांप्रदायिक तथा संकीर्ण सोच रखने वाली विरोधी पार्टियों से दूरी बनाकर रखेगी
यहां बसपा के राज्य मुख्यालय पर आयोजित संवाददाता सम्मेलन में मायावती ने कहा ”चुनाव को लेकर यह बात फिर से स्पष्ट कर देना चाहती हूं कि हमारी पार्टी देश में होने वाले लोकसभा के आम चुनाव गरीबों, उपेक्षित वर्गों में से विशेषकर दलितों, आदिवासियों, अति पिछड़े वर्ग, मुस्लिम व अन्य धार्मिक अल्पसंख्यक समाज के लोगों के बलबूते पर ही पूरी तैयारी व दमखम के साथ अकेले ही लड़ेगी।”
उन्होंने जोर देते हुए कहा ”इन्हीं के बलबूते ही हमने 2007 में आबादी के हिसाब से देश के सबसे बड़े राज्य उत्तर प्रदेश में अकेले ही चुनाव लड़कर अपनी पार्टी की पूर्ण बहुमत की सरकार बनाई थी। इसलिए पूर्व के अनुभव को ध्यान में रखकर हमारी पार्टी लोकसभा चुनाव अकेले ही लड़ेगी।”
मायावती ने कहा कि बसपा जातिवादी, पूंजीवादी, सांप्रदायिक व संकीर्ण सोच रखने वाली विरोधी पार्टियों से दूरी बनाकर रखेगी और किसी भी गठबंधन या पार्टी के साथ मिलकर यह चुनाव नहीं लड़ेगी।
उन्होंने कहा ‘‘यदि यह चुनाव 2007 के उप्र विधानसभा चुनाव की तरह निष्पक्ष एवं ईमानदारी के साथ होता है, जब ईवीएम में कोई गड़बड़ी या धांधली नहीं की गयी थी, तो हमारी पार्टी लोकसभा चुनाव अकेले ही लड़कर बेहतर परिणाम लाएगी।’’
बसपा प्रमुख ने कहा ‘‘हमारी पार्टी यह चुनाव अकेले इसलिए लड़ती है क्योंकि पार्टी का नेतृत्व एक दलित के हाथ में है जिसके प्रति अधिकतर पार्टियों की जातिवादी मानसिकता अभी तक नहीं बदली है। यही मुख्य वजह है कि गठबंधन करके चुनाव लड़ने पर बसपा के वोट तो गठबंधन की पार्टी में चले जाते हैं, लेकिन उनके वोट, खास कर उच्च जाति वर्ग के वोट बसपा को नहीं मिल पाते।’’
मायावती ने अपनी पूर्ववर्ती सरकार के कार्यकाल की उपलब्धियों को भी गिनाया। साथ ही उन्होंने सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी पर निशाना साधते हुए कहा ”बसपा ने चार बार की सरकार में सभी वर्गों के लिए काम किया। वर्तमान समय में कोई काम नहीं दिख रहा और मुफ्त में राशन देकर लोगों को गुलाम बनाया जा रहा है।”
बसपा प्रमुख ने ईवीएम पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा ”ईवीएम में मिल रही गड़बड़ी की खबरों से पार्टी के लोग चिंतित हैं। ऐसे में पूरी ऊर्जा से पार्टी को मजबूत बनाना है। यदि पार्टी के लोग इन हालात का मुकाबला कर पूरी निष्ठा से लगे रहते हैं तो पार्टी मजबूत होगी।”