Maharashtra News : मुंबई। शिवसेना (उबाठा) के नेता संजय राउत ने बृहस्पतिवार को कहा कि उनकी पार्टी रविवार को अबू अबू धाबी में एशिया कप क्रिकेट टूर्नामेंट में पाकिस्तान के साथ भारत के मैच खेलने के विरोध में ‘सिंदूर रक्षा’ अभियान चलाएगी। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान के साथ क्रिकेट खेलना ‘विश्वासघात’ के समान है। ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में, राउत ने कहा कि महाराष्ट्र की हजारों महिलाएं इस विरोध प्रदर्शन में हिस्सा लेंगी और अपने घरों से प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को ‘सिंदूर’ भेजेंगी।
#WATCH | Mumbai: On India's match against Pakistan in Asia Cup 2025, Shiv Sena (UBT) MP Sanjay Raut says, "…We will protest against this India-Pakistan cricket match. Women will come on the streets and our campaign is 'Sindoor Raksha Abhiyan'…You said that water and blood… pic.twitter.com/G29yNfdNqk
— ANI (@ANI) September 11, 2025
पहलगाम हमले का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि भारत द्वारा शुरू किया गया ‘ऑपरेशन सिंदूर’ अब भी जारी है और इसलिए पड़ोसी देश के साथ खेल संबंध अस्वीकार्य हैं। पहलगाम में 22 अप्रैल को पाकिस्तान समर्थित आतंकवादियों ने 26 लोगों की हत्या कर दी थी। भारत ने पहलगाम हमले का बदला लेने के लिए सात मई को ‘ऑपरेशन सिंदूर’ शुरू किया था, जिसके तहत पाकिस्तान और उसके कब्जे वाले कश्मीर में आतंकी ढांचों को तबाह कर दिया गया। इसके बाद 10 मई को दोनों देशों के बीच सैन्य संघर्ष के विराम पर सहमति बनी।राउत ने दावा किया, भाजपा के मंत्रियों के बच्चे जरूर यह मैच देखने जाएंगे। यह देशद्रोह है।
14 सितंबर को होगा भारत-पाकिस्तान का मुकाबला, SC ने रद्द की याचिका
भारत और पाकिस्तान के बीच 14 सितंबर को होने वाले एशिया कप के टी-20 क्रिकेट मैच को रद्द करने की मांग करने वाली याचिका को सुप्रीम कोर्ट ने खारिज कर दिया। कोर्ट ने स्पष्ट रूप से कहा, मैच होने दीजिए, हम इस पर कोई रोक नहीं लगाएंगे। यह याचिका चार एलएलबी छात्राओं द्वारा दायर की गई थी, जिन्होंने पाकिस्तान के साथ मैच खेलने को राष्ट्रीय भावना के खिलाफ बताया था। यह याचिका 11 सितंबर को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के लिए पेश की गई थी। याचिकाकर्ताओं का कहना था कि हाल ही में हुए पहलगाम आतंकी हमले और ऑपरेशन सिंदूर जैसी घटनाओं को देखते हुए पाकिस्तान के साथ क्रिकेट मैच खेलना राष्ट्र की गरिमा के खिलाफ होगा। उनका आरोप था कि पाकिस्तान आतंकवादियों को पनाह देता है, और ऐसे में हमारे सैनिकों द्वारा दी गई शहादत के बाद पाकिस्तान के साथ खेल का आयोजन एक गलत संदेश देगा।

याचिका में कहा गया था कि “जब हमारे सैनिक अपनी जान गंवा रहे हैं, तो हम उस देश के साथ क्रिकेट खेलेंगे जो आतंकवादियों को समर्थन देता है, यह दर्शाता है कि हम उन सैनिकों की शहादत को महत्व नहीं देते।” याचिकाकर्ताओं ने यह भी तर्क दिया कि इससे उन पीड़ित परिवारों की भावनाओं को ठेस पहुंचेगी जिन्होंने पाकिस्तान के आतंकवादियों के हाथों अपने प्रियजनों को खोया है।