पुणे। राकांपा (एसपी) प्रमुख शरद पवार ने शनिवार को कहा कि महिलाओं के लिए घोषित उद्यमिता योजना ने बिहार चुनाव में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) की प्रचंड जीत में अहम भूमिका निभाई। इसके साथ ही उन्होंने आश्चर्य जताया कि निर्वाचन आयोग ने चुनावों के दौरान इस योजना के तहत धन वितरण की अनुमति कैसे दी।
महिलाओं ने चुनाव अपने हाथ में ले लिया : शरद पवार
पवार ने बारामती में संवाददाताओं से बातचीत में कहा कि बिहार में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और जनता दल यूनाइटेड (जदयू) मुख्यमंत्री के नाम पर मिलकर फैसला करेंगी। उन्होंने कहा, बिहार चुनाव के नतीजे (मुख्यमंत्री) नीतीश कुमार की भविष्यवाणी से अलग नहीं थे। महिलाओं ने चुनाव अपने हाथ में ले लिया। मुझे पहले लगा था कि महिलाओं के बैंक खातों में 10,000 रुपये जमा कराए जाने संबंधी योजना ने (राजग के पक्ष में) माहौल बनाया।
VIDEO | Baramati: NCP–SCP chief Sharad Pawar says, “I don’t think there is a need to consider the issue of SIR in the Bihar election as having any impact. The main factor was women receiving Rs 10,000 just before the elections.”
— Press Trust of India (@PTI_News) November 15, 2025
He adds, “From everywhere I am hearing that they… pic.twitter.com/n3QAS4NVLf
पवार ‘मुख्यमंत्री महिला रोजगार योजना’ का जिक्र कर रहे थे, जिसके तहत बिहार में हर परिवार की एक महिला सदस्य को अपना उद्यम स्थापित करने के लिए वित्तीय सहायता दिए जाने का प्रावधान है। उन्होंने आश्चर्य जताया कि निर्वाचन आयोग ने चुनावों के दौरान इस योजना के तहत धन वितरण की अनुमति कैसे दी।पवार ने कहा, निर्वाचन आयोग को सोचना चाहिए कि क्या (बिहार सरकार की ओर से इस योजना के तहत) धन वितरण सही था। उन्होंने भविष्य में होने वाले चुनावों में भी बिहार की तर्ज पर धन वितरण संबंधी योजनाएं लागू किए जाने की आशंका जताई।
राकांपा (एसपी) प्रमुख ने कहा, “महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के दौरान भी (लाडकी बहिन योजना के तहत) महिलाओं के खातों में आधिकारिक तौर पर राशि जमा कराई गई थी। अगर सत्तारूढ़ दल चुनावों में इसी तरह की रणनीति अपनाते हैं, तो इससे लोगों का विश्वास और चुनाव प्रक्रिया दोनों प्रभावित होंगे।” पवार ने महाराष्ट्र में आगामी स्थानीय निकाय चुनावों के दौरान राकांपा (एसपी) और अपने भतीजे एवं उपमुख्यमंत्री अजित पवार के नेतृत्व वाली राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के बीच संभावित गठबंधन के बारे में पूछे गए सवालों का सीधा जवाब देने से परहेज किया। उन्होंने कहा, “मुझे किसी भी जिले में (राकांपा के दोनों गुटों के बीच गठबंधन के सिलसिले में) बातचीत के बारे में कोई जानकारी नहीं है। राकांपा (एसपी) में हुई चर्चा के अनुसार, स्थानीय नेता नगर पंचायत और पंचायत समिति चुनावों के दौरान (गठबंधन बनाने पर) फैसला लेंगे।”




