मणिपुर। मणिपुर की राज्यपाल अनुसूइया उइके को चूराचांदपुर कस्बे में ‘वॉल ऑफ रिमेंम्ब्रेंस’ के पास कुकी जो समुदाय की कुछ महिलाओं ने रोक लिया और अपने लिए अलग प्रशासन की मांग की।
राज्यपाल जिले में ईसीए चर्च सोंगगेल और ईसीए चर्च तुइबोंग में स्थित 2 राहत शिविरों का दौरा करने जा रही थीं, तभी उन्हें रोका गया। राज्य में गत 3 मई को भड़की जातीय हिंसा के बाद से इन शिविरों में सैकड़ों कुकी लोगों ने शरण ले रखी है। उइके ने रास्ते में महिलाओं को देखा तो वह अपनी गाड़ी से उतरीं और उन्हें बताया कि वह राहत शिविरों में लोगों की स्थिति देखने आई थीं। राज्यपाल ने कहा कि वह देखना चाहती थीं कि पिछले 4 महीने से राहत शिविरों में रहने वाले लोगों के लिए पर्याप्त चिकित्सा आपूर्ति हो पा रही है या नहीं।
जानकारी के अनुसार, राज्यपाल ने महिलाओं से कहा कि उन्होंने अनेक मंचों पर कुकी जो समुदाय के लोगों के मुद्दे को उठाया है, जिसके बाद उन्हें जाने दिया गया। चूराचांदपुर के उपायुक्त धरुन कुमार ने कहा कि राहत शिविरों की ओर जा रहीं राज्यपाल को रास्ते में रोकना सही बात नहीं है। यदि कोई आपके इलाके में आता है तो आपकी जिम्मेदारी है कि उनका स्वागत करें। राज्यपाल जनता के लिए कुछ अच्छा करना चाहती हैं और उनके साथ हुआ व्यवहार दुर्भाग्यपूर्ण है।