Wednesday, February 5, 2025
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चंद्रयान-3 ‘सॉफ्ट लैंडिंग’ का इंतजार

भुवनेश्वर,पूरी दुनिया आज भारत के चंद्र मिशन चंद्रयान-3 के प्रक्षेपण का बेसब्री से इंतजार कर रही है। वहीं भुवनेश्वर के ‘सेंट्रल टूल रूम एंड ट्रेनिंग सेंटर’ के तकनीशियन और छात्र इस यान को चंद्रमा की सतह पर ‘सॉफ्ट लैंडिंग’ करता देखने के लिए उत्सुक हैं। लॉचिंग में कुछ ही मिनट बाकी है।
संस्थान के महाप्रबंधक एल राजशेखर ने कहा, ”हम व्याकुल हैं और परीक्षा परिणाम का इंतजार कर रहे छात्र जैसा महसूस कर रहे हैं। हम अत्यधिक आशावादी हैं कि इस बार भारत इतिहास रचेगा।”
देशभर में कुल 23 सीटीटीसी हैं। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने कार्यों को बेहद सटीकता और निर्धारित मानकों के अनुरूप पूरा करने के भुवनेश्वर केंद्र के रिकॉर्ड को देखते हुए उसे इस मिशन के लिए चुना। राजशेखर कहते हैं कि तकनीशियनों के समर्पित प्रयासों के बलबूते सीटीटीसी भुवनेश्वर को मिशन का हिस्सा बनने का दुर्लभ मौका मिल सका।
भुवनेश्वर स्थित इस सरकारी उपक्रम (पीएसयू) ने चंद्रयान-3 प्रक्षेपण वाहन के एलवीएम3 (लॉन्च व्हीकल मार्क-3), सेंसर और रेग्युलेटर में इस्तेमाल किए जाने वाले कई प्रवाह नियंत्रण वाल्व का निर्माण किया है।
संस्थान ने यान के लिए गाइरोस्कोप और प्रक्षेपक के कलपुर्जों की भी आपूर्ति की है। सीटीटीसी भुवनेश्वर ने अगले महीने के अंत में चंद्रमा की सतह पर ‘सॉफ्ट लैंडिंग’ के लिए लैंडर के पहिया तंत्र के कुछ घटकों का भी निर्माण किया है।

लैंडर के डिजाइन में कुछ बदलाव
राजशेखर ने कहा कि 2019 में चंद्रयान-2 के दौरान चंद्रमा की सतह पर ‘सॉफ्ट लैंडिंग’ में आंशिक विफलता के बाद इसरो ने वाहन लैंडर के डिजाइन में कुछ बदलाव किए हैं। उन्होंने बताया कि इस अंतरिक्ष मिशन के लिए नए घटकों का इस्तेमाल करने से पहले उनका कई बार परीक्षण किया गया साथ ही चंद्र मिशन में इस्तेमाल होने वाले 50,000 से ज्यादा अहम घटकों के निर्माण के लिए 150 से अधिक तकनीशियनों ने पिछले दो वर्षों में दिन-रात काम किया।

PM नरेंद्र मोदी को फ्रांस के राष्ट्रपति ने सर्वोच्च सम्मान से नवाजा

नई दिल्ली।  PM (Narendra Modi) नरेंद्र मोदी को फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों (Emmanuel Macron) ने फ्रांस के सर्वोच्च सम्मान ‘ग्रैंड क्रॉस ऑफ द लीजन ऑफ ऑनर’ से नवाजा. PM (Narendra Modi) के 2 दिवसीय यात्रा पर पेरिस पहुंचने पर उनका भव्य स्वागत किया गया. मोदी (Narendra Modi)  राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों (Emmanuel Macron) के साथ फ्रांस के राष्ट्रीय दिवस में शुक्रवार को विशिष्ट अतिथि के तौर पर शामिल होंगे.   

विदेश मंत्रालय (MEA) के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने यहां ‘एलिसी पैलेस’ (राष्ट्रपति आवास) में आयोजित पुरस्कार समारोह की तस्वीरें Twitter पर साझा कीं और लिखा साझेदारी की भावना का प्रतीक, PM (Narendra Modi)  मोदी को राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों (Emmanuel Macron)  ने फ्रांस के सर्वोच्च पुरस्कार ‘ग्रैंड क्रॉस ऑफ द लीजन ऑफ ऑनर’ से नवाजा.

विदेश मंत्रालय ने कहा PM (Narendra Modi)  ने भारत के लोगों की ओर से इस अद्वितीय सम्मान के लिए राष्ट्रपति मैक्रों (Emmanuel Macron)  का आभार व्यक्त किया. इससे पहले, फ्रांस के राष्ट्रपति (Emmanuel Macron)  और प्रथम महिला ब्रिजिट मैक्रों ने एलिसी पैलेस में PM (Narendra Modi)  मोदी के लिए एक निजी रात्रिभोज का आयोजन किया. PM (Narendra Modi)  ने गुरुवार को एक कला केंद्र में भारतीय समुदाय के लोगों को भी संबोधित किया.

उन्होंने कहा था कि भुगतान प्रणाली ‘यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस’ (UPI) के इस्तेमाल को लेकर भारत और फ्रांस के बीच सहमति बनी है, जिसके परिणामस्वरूप अब यहां इसका उपयोग किया जा सकेगा और भारतीय नवाचार के लिए एक बड़ा बाजार खुलेगा. PM (Narendra Modi)  ने कहा कि अब फ्रांस में स्नातकोत्तर के छात्रों को पढ़ाई के बाद 5 वर्ष का कार्य वीजा भी दिया जाएगा.

दिल्ली हवाईअड्डे पर ईस्टर्न क्रॉस टैक्सीवे, चौथी हवाई पट्टी का उद्घाटन

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नई दिल्ली, 14 जुलाई: सिविल एविएशन मिनिस्टर ज्योतिरादित्य सिंधिया ने शुक्रवार को दिल्ली हवाईअड्डे पर दोहरे एलिवेटेड ईस्टर्न क्रॉस टैक्सीवे और चौथी हवाई पट्टी का उद्घाटन किया।

इंदिरा गांधी अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा (IGI) पर हर दिन 1,500 से अधिक विमानों की आवाजाही होती है। देश के सबसे बड़े हवाईअड्डे पर नई सुविधाएं शुरू होने से विमानों की आवाजाही में सहूलियत बढ़ जाएगी।

करीब 2.1 किलोमीटर लंबा ईस्टर्न क्रॉस टैक्सीवे (ECT) शुरू हो जाने से विमान उतरने के बाद और उड़ान भरने के पहले यात्रियों का टरमैक पर बिताया जाने वाला समय कम हो जाएगा। विमानों के खड़े होने वाली जगह से हवाई पट्टी तक जाने वाले रास्ते को टरमैक कहा जाता है।

ECT शुरू होने से IGI देश का इकलौता हवाईअड्डा हो गया है जहां एक एलिवेटेड टैक्सीवे होगा और उसके नीचे से सड़कें गुजरेंगी।

ईसीटी दिल्ली हवाईअड्डे के पूर्वी हिस्से में उत्तरी और दक्षिणी हवाई क्षेत्रों को जोड़ने का काम करेगा। इससे विमान के उड़ान भरने से पहले और उतरने के बाद टरमैक पर सात किलोमीटर तक कम चलना होगा। यह ए-380, बी-777 और बी-747 जैसे चौड़े आकार वाले विमानों को भी संभाल सकता है।

इसी के साथ दिल्ली हवाईअड्डे पर चौथी हवाई पट्टी भी शुरू हो गई है। इसके पहले तीन हवाई पट्टियों के सहारे विमानों का परिचालन होता था। IGI का परिचालन दिल्ली इंटरनेशनल एयरपोर्ट लिमिटेड (DIAL) के पास है जो जीएमआर एयरपोर्ट्स इंफ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड की अगुवाई वाला गठजोड़ है।

ढाई आखर की कहानी ‘हडसन तट का जोड़ा’

समीक्षक- माणक तुलसीराम गौड़
लेखक— प्रबोध कुमार गोविल

ढाई आखर की कहानी है उपन्यास ‘हडसन तट का जोड़ा’ जिसे लिखा है ख्यातनाम साहित्यकार प्रबोध कुमार गोविल ने। जिन्होंने अब तक ‘देहाश्रम का मनजोगी’, ‘बेस्वाद मांस का टुकड़ा’, ‘रेत होते रिश्ते’, ‘वंश’, ‘आखेट महल’, जल तू जलाल तू’, ‘अकाब’, रायसाहब की चौथी बेटी’, ‘टापुओं पर पिकनिक’, ‘ज़बाने यार मनतुर्की’, ‘हसद’ और झंझावात में चिड़िया’ लिखकर न केवल हिन्दी साहित्य को समृद्ध किया है बल्कि लघुकथा, कहानी और उपन्यास जैसी विधाओं को एक नई ऊंचाई भी प्रदान की है।
समीक्षित उपन्यास ‘हडसन तट का जोड़ा’ इसी फंतासी के सहारे प्रेम भावनाओं से ओतप्रोत उपन्यास है, जिसे पाने के लिए उपन्यास के नायक ‘राॅकी’ और नायिका ‘ऐश’ विश्व भ्रमण का बीड़ा उठाते हैं। जिसमें ऐश को अनेक आपदाओं-विपदाओं का सामना करना पड़ता है। ऐश में जोश है, परंतु होश के बिना जोश हित की जगह अहित कर बैठता है। इसलिए अपने समूह के सबसे अनुभवी और बुजुर्ग राही या यों कह दें सहयात्री एक हंस जिसे बूढ़ा चाचा कहा गया है, ऐश पर कुदृष्टि डालता है। तब प्रश्न खड़ा होता है कि हम विश्वास करें भी तो आखिर किस पर ?
उपन्यासकार ने ‘राॅकी और ऐश’ जैसे हंसों के एक खूबसूरत जोड़े के माध्यम से इंसानों को बहुत ही गहरी, उपयोगी और महत्वपूर्ण शिक्षा दी हैं। जो स्थान-स्थान पर पर हमारे लिए उद्धरण का काम करती हैं। जैसे- ‘दुनिया की हर चीज आनी-जानी है, रहनी तो केवल बातें ही हैं न यहाँ ?’ अपने भाई की जीवन रक्षा के लिए ये शब्द ‘मैं उससे बिनती करती, उससे कहती कि मेरे भाई को छोड़ दे चाहे उसके बदले में मुझे ले जा।’ इसमें उसकी अपने भाई के प्रति प्रेम, त्याग, समर्पण और बलिदान की भावना समाई हुई है।
जब राॅकी और डाॅगी का निम्न लिखित वार्तालाप सुनेंगे तो हमारी आँखें खुल जाएँगी। अब नस्ल, जाति, धर्म, रंग, संप्रदाय आदि की बातें करना घटिया सोच है। अब तो प्यार, दोस्ती, समझ, दुनिया को आगे बढ़ाने की इच्छा ही सब कुछ है। देखते नहीं, दुनिया में तमाम झगड़े-टंटे, विवाद, खून-खराबा सब इसीलिए होता है कि हम हर बात में ‘अपना-पराया’ करते हैं, संकीर्ण गुटों में बंटे रहते हैं, तेरा-मेरा के लिए जीते हैं।

ये नफ़रत और भेद कहां से आ गए?’ सच में यह संवाद हमें अंदर तक झकझोरता है। एक व्यंग्य और तंज यह भी- ‘हो सकता है कि कोई सजीला खूबसूरत लड़का अपने साथ कोई सजीली सुंदर सोन मछली को ले आए, पर प्रतियोगिता जीतने के बाद शाम को ही उसे पका कर खा डाले।’
कहने का तात्पर्य यह है कि यह तो कोई प्यार नहीं हुआ। ‘धीरे-धीरे पूरी दुनिया इसी प्रश्न में उलझ गई कि आखिर प्यार है क्या, और ये कैसे मापा जाए ?’ और यह भी देखा गया है कि ‘प्रेम का बुखार हमेशा पेट भरने के बाद ही चढ़ता है।’
प्रेम में स्वार्थ का भी कोई स्थान नहीं। मानव से मानव ही नहीं, बल्कि हर प्राणी में ‘आत्मवत्, सर्वेभूतेषु’ का मंत्र फूंके। बस,यही सुखद संदेश है इस उपन्यास का।

Chandrayaan का तमिलनाडु से अनोखा नाता

श्रीहरिकोटा। वर्ष 2008 में पहले चंद्र मिशन के साथ शुरू हुई चंद्रयान श्रृंखला के बारे में एक अनोखी समानता उसका तमिलनाडु से संबंध है।

तमिलनाडु में जन्मे मयिलसामी अन्नादुरई और एम. वनिता के चंद्रयान-1 और चंद्रयान-2 का नेतृत्व करने के बाद, अब विल्लुपुरम के मूल निवासी पी. वीरमुथुवेल तीसरे मिशन की निगरानी कर रहे हैं, जिसे शुक्रवार को यहां एलवीएम3-एम4 के जरिये चंद्रमा की ओर रवाना किया जाएगा। एस. सोमनाथ की अध्यक्षता में भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) का मकसद उन विशिष्ट देशों की सूची में शामिल होना है, जिन्होंने चंद्रमा की सतह पर ‘सॉफ्ट लैंडिंग’ में महारत हासिल कर ली है।

शुक्रवार को रवाना होने वाला ‘चंद्र मिशन’ वर्ष 2019 के ‘चंद्रयान-2’ का अनुवर्ती मिशन है। भारत के इस तीसरे चंद्र मिशन में भी अंतरिक्ष वैज्ञानिकों का लक्ष्य चंद्रमा की सतह पर लैंडर की ‘सॉफ्ट लैंडिंग’ कराना है। वीरमुथुवेल (46) वर्तमान में सोमनाथ के नेतृत्व में चंद्रयान-3 मिशन के परियोजना निदेशक हैं। तमिलनाडु के विल्लुपुरम जिले के एक परिवार से नाता रखने वाले वाले, वीरमुथुवेल प्रतिष्ठित भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (मद्रास) के पूर्व छात्र हैं और उन्होंने पीएचडी भी कर रखी है।

चंद्र मिशन के परियोजना निदेशक के रूप में वीरमुथुवेल ने वनिता का स्थान लिया है, जो तत्कालीन इसरो प्रमुख के. सिवन के नेतृत्व में चलाए गए चंद्रयान -2 मिशन की परियोजना निदेशक थीं। वनिता इसरो के इतिहास में इस पद काबिज हुई पहली महिला थीं। पहले चंद्रयान मिशन का नेतृत्व करने के बाद मयिलसामी अन्नादुरई को ‘मून मैन ऑफ इंडिया’ की पदवी दी गई। वह भी तमिलनाडु से नाता रखते थे। दिलचस्प तथ्य यह है कि पूर्व राष्ट्रपति दिवंगत डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम, जिन्होंने भारत के रॉकेट कार्यक्रम का नेतृत्व किया, वह भी तमिलनाडु के रामेश्वरम से थे।

सुप्रीम कोर्ट को मिले दो नये न्यायाधीश, न्यायमूर्ति भुइयां और न्यायमूर्ति भट्टी ने शपथ ली, न्यायाधीशों की संख्या बढ़कर हुई 32

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नई दिल्ली, 14 जुलाई: चीफ जस्टीस डी. वाई. चंद्रचूड़ ने न्यायमूर्ति उज्ज्वल भुइयां और न्यायमूर्ति एस. वेंकटनारायण भट्टी को शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश के तौर पर शपथ दिलाई। इसके साथ ही शीर्ष अदालत में प्रधान न्यायाधीश सहित कुल न्यायाधीशों की संख्या बढ़कर 32 हो गई। सुप्रीम कोर्ट में कुल 34 न्यायाधीश नियुक्त किए जा सकते हैं।

सुप्रीम कोर्ट के सभागार में आयोजित शपथ ग्रहण समारोह में चीफ जस्टीस डी. वाई. चंद्रचूड़ ने दो नये न्यायाधीशों को पद की शपथ दिलाई। आपको बता दें कि केंद्र सरकार ने 12 जुलाई को न्यायमूर्ति भुइयां और न्यायमूर्ति भट्टी को पदोन्नत कर उच्चतम न्यायालय में नियुक्त करने की मंजूरी दी थी।

न्यायमूर्ति भुइयां तेलंगाना हाईकोर्ट के और न्यायमूर्ति भट्टी केरल हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश थे। विधि मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने बुधवार को न्यायमूर्ति उज्ज्वल भुइयां और न्यायमूर्ति भट्टी की नियुक्तियों की घोषणा की थी।

चीफ जस्टीस ऑफ इंडिया की अध्यक्षता वाले उच्चतम न्यायालय कॉलेजियम ने उन्हें शीर्ष अदालत में न्यायाधीश के तौर पर पदोन्नत करने की सिफारिश पांच जुलाई को की थी

दिल्ली: यमुना नदी का पानी आईटीओ, राजघाट में घुसा

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नई दिल्ली, 14 जुलाई: यमुना नदी में जल स्तर घटने लगा है लेकिन इंद्रप्रस्थ के समीप दिल्ली सिंचाई और बाढ़ नियंत्रण विभाग के रेगुलेटर को नुकसान पहुंचने के कारण आईटीओ और राजघाट के इलाके शुक्रवार को जलमग्न हो गए जिससे हालात और बदतर हो गए हैं।

बाढ़ का पानी मध्य दिल्ली के तिलक मार्ग इलाके में स्थित उच्चतम न्यायालय तक भी पहुंच गया है।

New Delhi: Vehicles make their way through waterlogged roads at ITO as the Yamuna river floods nearby areas, in New Delhi, Friday, July 14, 2023. The flooding in ITO and Rajghat areas has led the authorities to impose curbs on movement of traffic. (PTI Photo/Kamal Singh) (PTI07_14_2023_000060B)

दिल्ली के कैबिनेट मंत्री सौरभ भारद्वाज ने कहा कि सरकार ने मुख्य सचिव को रेगुलेटर (गति व्यवस्थापक) को क्षति पहुंचने के मामले पर प्राथमिकता के आधार पर गौर करने और समस्या को हल करने का निर्देश दिया है।

उन्होंने ट्वीट किया, “सारी रात हमारे दल ने डब्ल्यूएचओ इमारत के समीप नाला संख्या 12 के रेगुलेटर की मरम्मत का काम किया। फिर भी यमुना का पानी इसके जरिए शहर में घुस रहा है। सरकार ने मुख्य सचिव को इस पर शीर्ष प्राथमिकता के आधार पर काम करने का निर्देश दिया है।”

आईटीओ और राजघाट के इलाकों में बाढ़ आने के कारण प्राधिकारियों को यातायात की आवाजाही पर पाबंदियां लगानी पड़ी।

वहीं दिल्ली यातायात पुलिस ने ट्वीट किया, “डब्ल्यूएचओ इमारत के समीप नाले में क्षमता से अधिक पानी बहने के कारण आईपी फ्लाईओवर की ओर सराय काले खां से महात्मा गांधी मार्ग पर वाहनों की कोई आवाजाही नहीं होगी। यात्रियों को इस मार्ग से बचने की सलाह दी जाती है।”

पूर्वी दिल्ली को लुटियंस दिल्ली से जोड़ने वाले अहम मार्ग आईटीओ रोड पर जलभराव के कारण यात्रियों को काफी समस्याएं हुईं। अपने कार्यालय और नयी दिल्ली रेलवे स्टेशन की ओर जा रहे लोगों को इस मार्ग से गुजरते वक्त दिक्कतों का सामना करना पड़ेगा।

रेलवे अंडर ब्रिज के समीप नाले में क्षमता से अधिक पानी बहने के कारण भैरों रोड को भी यातायात की आवाजाही के लिए बंद कर दिया गया है। कुछ लोगों को आईटीओ के जलभराव वाले हिस्से में अपने वाहनों को खींचकर ले जाते हुए देखा गया।

सीमा के वतन नहीं लौटने पर दी धमकी

मुंबई। मुंबई पुलिस के यातायात नियंत्रण कक्ष को एक अज्ञात व्यक्ति ने फोन कर धमकी दी है कि अगर पाकिस्तानी महिला सीमा हैदर अपने वतन नहीं लौटी, तो भारत में 26/11 जैसा आतंकवादी हमला हो सकता है। एक पुलिस अधिकारी ने जानकारी देते हुए बताया कि धमकी भरा फोन 12 जुलाई को आया था।

अधिकारी के मुताबिक, फोन करने वाला व्यक्ति उर्दू में बोल रहा था और उसने कहा कि सीमा हैदर के पाकिस्तान न लौटने पर भारत में 26/11 के मुंबई हमले जैसा आतंकवादी हमला होगा, जिसके लिए उत्तर प्रदेश सरकार जिम्मेदार होगी। अधिकारी ने बताया कि मुंबई पुलिस धमकी भरे कॉल की जांच कर रही है और मामले की जांच के लिए अपराध शाखा की टीम की भी मदद ली जा रही है। अधिकारी के अनुसार, धमकी भरी फोन कॉल एक ऐप के माध्यम से की गई थी और पुलिस कॉलर के आईपी एड्रेस के बारे में पता लगाने की कोशिशों में जुटी है।

पाकिस्तानी नागरिक सीमा हैदर ग्रेटर नोएडा निवासी अपने प्रेमी सचिन मीणा से शादी करने के लिए हाल में भारत में अवैध रूप से दाखिल हुई थी। दोनों की ऑनलाइन गेम पबजी खेलने के दौरान दोस्ती हुई थी। पुलिस ने भारत में अवैध रूप से रहने के सिलसिले में सीमा (30) और सचिन (25) को गिरफ्तार किया था, लेकिन पिछले सप्ताह उत्तर प्रदेश के ग्रेटर नोएडा की एक अदालत ने उन्हें जमानत दे दी थी। सचिन और सीमा ने 4 जुलाई को मीडिया और पुलिस के सामने एक-दूसरे के प्रति अपने प्यार का इजहार किया था और सरकार से उन्हें शादी करके भारत में साथ रहने की इजाजत देने का आग्रह किया था।

प्रधानमंत्री मोदी को फ्रांस के सर्वोच्च सम्मान ‘ग्रैंड क्रॉस ऑफ द लीजन ऑफ ऑनर’ से नवाजा गया

पेरिस, 14 जुलाई: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने फ्रांस के सर्वोच्च सम्मान ‘ग्रैंड क्रॉस ऑफ द लीजन ऑफ ऑनर’ से नवाजा। एक आधिकारिक बयान में यह जानकारी दी गई।

प्रधानमंत्री मोदी के दो दिवसीय यात्रा पर पेरिस पहुंचने पर उनका भव्य स्वागत किया गया। वे राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों के साथ फ्रांस के राष्ट्रीय दिवस में शुक्रवार को विशिष्ट अतिथि के तौर पर शामिल होंगे।

विदेश मंत्रालय (एमईए) के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने यहां ‘एलिसी पैलेस’ (राष्ट्रपति आवास) में आयोजित पुरस्कार समारोह की तस्वीरें ट्विटर पर साझा कीं और लिखा, “साझेदारी की भावना का प्रतीक…प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों ने फ्रांस के सर्वोच्च पुरस्कार ‘ग्रैंड क्रॉस ऑफ द लीजन ऑफ ऑनर’ से नवाजा।”

विदेश मंत्रालय ने एक बयान में कहा, “प्रधानमंत्री ने भारत के लोगों की ओर से इस अद्वितीय सम्मान के लिए राष्ट्रपति मैक्रों का आभार व्यक्त किया।

इससे पहले, फ्रांस के राष्ट्रपति और प्रथम महिला ब्रिजिट मैक्रों ने एलिसी पैलेस में प्रधानमंत्री मोदी के लिए एक निजी रात्रिभोज का आयोजन किया।

इससे पहले प्रधानमंत्री मोदी ने गुरुवार को एक ऑडिटोरियम में भारतीय समुदाय के लोगों को भी संबोधित किया।

उन्होंने कहा था कि भुगतान प्रणाली ‘यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस’ (यूपीआई) के इस्तेमाल को लेकर भारत और फ्रांस के बीच सहमति बनी है, जिसके परिणामस्वरूप अब यहां इसका उपयोग किया जा सकेगा और भारतीय नवाचार के लिए एक बड़ा बाजार खुलेगा।

प्रधानमंत्री ने कहा कि अब फ्रांस में स्नातकोत्तर के छात्रों को पढ़ाई के बाद पांच वर्ष का कार्य वीजा भी दिया जाएगा।

Chandrayaan-3 के लॉन्चपैड से पुस्तक का विमोचन

श्रीहरिकोटा। राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता फिल्म निर्माता विनोद मनकारा की नई किताब का यहां सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र (SDSC) के ‘रॉकेट लॉन्चपैड’ से विमोचन किया गया।

विज्ञान से संबंधित लेखों का संग्रह ‘प्रिज्म : द एन्सेस्ट्रल एबोड ऑफ रेनबो’ का गुरुवार शाम को SDSC-SHAR में उस समय अनोखा विमोचन किया गया, जब भारत के बहुप्रतीक्षित चंद्रमा मिशन ‘चंद्रयान-3’ के प्रक्षेपण की तैयारियां जोर-शोर से हो रही है। अंतरिक्ष केंद्र में ऐतिहासिक प्रक्षेपण की उल्टी गिनती के बीच भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के अध्यक्ष एस. सोमनाथ ने विक्रम साराभाई अंतरिक्ष केंद्र (VSSC) के निदेशक एस उन्नीकृष्णन को किताब सौंपकर कर उसका विमोचन किया।

इस कार्यक्रम के दौरान SDSC-SHAR के निदेशक ए. राजाराजन, लिक्विड प्रोपल्शन सिस्टम्स सेंटर (SPSC) के निदेशक वी. नारायणन, इसरो के पूर्व निदेशक के. राधाकृष्णन और लिपि पब्लिकेशंस के प्रबंध निदेशक लिपि अकबर के अलावा कई अन्य अंतरिक्ष वैज्ञानिक मौजूद थे। कोझीकोड स्थित लिपि बुक्स द्वारा प्रकाशित ‘प्रिज्म’ अंतरिक्ष विज्ञान, खगोल शास्त्र, जीव विज्ञान, मानव शास्त्र और गणित समेत विज्ञान की विभिन्न शाखाओं से संबंधित 50 दिलचस्प लेखों का संग्रह है। इसमें जेम्स वेब अंतरिक्ष दूरबीन, डार्क स्काई पर्यटन, ब्लैक होल, लाइका कुत्ते की पहली अंतरिक्ष यात्रा और अन्य विभिन्न विषयों पर आधारित लेख प्रकाशित किए गए हैं।

कुल 167 पन्नों की इस किताब की प्रस्तावना सोमनाथ ने खुद लिखी है। उन्होंने कहा है कि यह ‘‘विज्ञान के चमत्कारों’’ से भरपूर है। ‘प्रिज्म’ विज्ञान के सौंदर्य और काव्यात्मक पहलुओं की खोज है। इसके जरिये आम लोगों को विज्ञान से करीबी रूप से जुड़ने और उसके सौंदर्य को महसूस करने में मदद मिलेगी। मनकारा ने भारत के ऐतिहासिक मंगल मिशन ‘‘मंगलयान’’ पर, संस्कृत में विज्ञान आधारित वृत्तचित्र ‘‘यानम’’ भी तैयार किया है। कई बार राष्ट्रीय और राज्य पुरस्कार जीत चुके मनकारा ने छह फिल्में और 685 वृत्तचित्र बनाए हैं। मनकारा के वृत्तचित्रों में चंद्रयान-1 पर बनी ‘चंद्रानु नेरे चून्दुविरल’ और विक्रम साराभाई अंतरिक्ष केंद्र के 60 वर्ष पूरे होने पर आधारित ‘वीएएससीएट60’ शामिल हैं। वह चंद्रयान-3 पर एक नया वृत्तचित्र भी बना रहे हैं।

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