चंडीगढ़। केंद्र सरकार ने सोमवार को पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय को बताया कि वह फरहान अख्तर अभिनीत आगामी फिल्म ‘120 बहादुर’ के प्रमाणन और रिलीज को चुनौती देने वाले याचिकाकर्ताओं के अभ्यावेदन पर दो दिन के भीतर निर्णय लेगी। मुख्य न्यायाधीश शील नागू और न्यायमूर्ति संजीव बेरी की पीठ ने संयुक्त अहीर रेजिमेंट मोर्चा और अन्य याचिकाकर्ताओं की 1962 के रेजांग ला युद्ध पर आधारित फिल्म की रिलीज पर रोक लगाने का अनुरोध करने वाली याचिका का निपटारा कर दिया। याचिकाकर्ता ने मांग की थी कि फिल्म का नाम ‘120 बहादुर’ से बदलकर ‘120 अहीर वीर’ किया जाए।
2 दिन के भीतर फैसला करेगी केंद्र सरकार
याचिका में ‘तथ्यात्मक सुधार और सभी 120 सैनिकों के नाम शामिल करने व एक उचित अस्वीकरण जोड़ने’ का अनुरोध किया गया था। संयुक्त अहीर रेजिमेंट मोर्चा के अलावा याचिकाकर्ताओं में रेजांग ला की लड़ाई के शहीदों के कुछ परिवारों के सदस्य भी शामिल थे। केंद्र सरकार का प्रतिनिधित्व कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता धीरज जैन ने उच्च न्यायालय को बताया कि केंद्र दो दिन के भीतर सिनेमैटोग्राफ अधिनियम की धारा 6 के तहत याचिकाकर्ताओं के अभ्यावेदन पर फैसला करेगा।

याचिका के अनुसार, लद्दाख के चुशूल सेक्टर में 18,000 फुट की ऊंचाई पर लड़ी गई रेजांग ला की लड़ाई को रक्षा मंत्रालय के इतिहास प्रभाग के आधिकारिक रिकॉर्ड में सामूहिक वीरता के प्रतीक के रूप में दर्ज किया गया है। इस लड़ाई में 120 में से 114 सैनिक शहीद हो गए थे।




