नई दिल्ली, विपक्षी दलों के सदस्यों ने आम बजट 2024-25 में बिहार और आंध्र प्रदेश को छोड़कर अन्य राज्यों की अनदेखी करने का आरोप लगाते हुए बुधवार को राज्यसभा से वॉकआउट किया.विपक्ष के इन आरोपों को सिरे से खारिज करते हुए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि बजट भाषण में राज्यों का नाम न लेने का अर्थ यह नहीं है कि उन्हें नजरअंदाज किया गया है.
बजट में इन राज्यों को कुछ नहीं मिलने का दावा
उच्च सदन की कार्यवाही आरंभ होने के कुछ देर बाद विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खरगे ने बजट का जिक्र करते हुए कहा,”इसमें किसी भी राज्य को कुछ नहीं मिला.सबकी थाली खाली और दो की थाली में पकौड़े और जलेबी.”उन्होंने दावा किया कि बजट में तमिलनाडु, केरल, कर्नाटक, महाराष्ट्र, पंजाब, हरियाणा, राजस्थान, छत्तीसगढ़, दिल्ली और ओडिशा सहित कई राज्यों को कुछ नहीं मिला.
मैंने ऐसा बजट कभी नहीं देखा : खरगे
उन्होंने कहा,”मैंने ऐसा बजट कभी नहीं देखा.यह सिर्फ किसी को खुश करने के लिए.कुर्सी बचाने के लिए यह सब हुआ है.हम इसकी निंदा करते हैं.कश्मीर से लेकर कन्याकुमारी तक ‘इंडिया’ गठबंधन के दल इसकी निंदा करते हैं.”
मल्लिकार्जुन खरगे ने लगाया ये आरोप
खरगे ने आरोप लगाया कि जिन क्षेत्रों में विपक्षी पार्टी चुनकर आई है या जहां जनता ने सत्तारूढ़ पार्टी को नकार दिया है, उन क्षेत्रों को बजट में नजरअंदाज किया गया है.उन्होंने प्रश्न उठाया कि अगर बजट में संतुलन नहीं होगा तो विकास कैसे होगा? इसके बाद कांग्रेस के नेतृत्व में विपक्षी दलों के सदस्य सदन से वॉकआउट कर गए.
वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने कही ये बात
खरगे के आरोपों का जवाब देते हुए वित्त मंत्री सीतारमण ने कहा कि बजट भाषण में अक्सर हर राज्य का नाम लेना संभव नहीं होता है लेकिन इसका अर्थ यह लगाना कि राज्यों को नजरअंदाज किया गया, अनुचित है.सीतारमण ने कहा कि उन्होंने बजट पेश करने के दौरान महाराष्ट्र का नाम नहीं लिया लेकिन हाल में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने 76,000 करोड़ रुपये की लागत वाली वधावन बंदरगाह परियोजना (महाराष्ट्र) को मंजूरी दे दी है.
”विपक्ष के नेता ने जो आरोप लगाए हैं, वे अस्वीकार्य हैं”
उन्होंने कहा कि बजट में कई योजनाओं की घोषणा की गई है तो क्या इन योजनाओं का लाभ सभी राज्यों को नहीं मिलेगा.उन्होंने विपक्षी दलों पर आरोप लगाया कि वे ऐसा विमर्श गढ़ने का प्रयास कर रहे हैं कि बजट में राज्यों को कुछ नहीं दिया गया.विपक्ष के नेता ने जो आरोप लगाए हैं, वे अस्वीकार्य हैं.”
TMC सांसदों ने लगाया बंगाल को नजरअंदाज करने का आरोप
सीतारमण अभी जवाब दे ही रही थी कि विपक्षी दलों के सदस्य सदन में लौट आए.इस दौरान तृणमूल कांग्रेस के कुछ सदस्यों ने बजट में पश्चिम बंगाल को नजरअंदाज करने का आरोप लगाया.इस पर पलटवार करते हुए सीतारमण ने कहा कि पश्चिम बंगाल सरकार कई केंद्रीय योजनाओं को राज्य में लागू नहीं कर रही है.थोड़ी देर के लिए इस मुद्दे पर सदन में हंगामा भी हुआ.
सभापति जगदीप धनखड़ ने कही ये बात
सभापति जगदीप धनखड़ ने सदस्यों से कहा कि बजट पर चर्चा के लिए 20 घंटे का समय आवंटित किया गया और इस दौरान सभी सदस्य विस्तार से अपनी बात रख सकते हैं.उन्होंने कहा कि यदि जरूरत पड़ी तो वह चर्चा के समय को और बढ़ा देंगे और सभी को बोलने का मौका देने का प्रयास करेंगे.इसके बाद शून्यकाल आरंभ हुआ और सदन की कार्यवाही शांतिपूर्ण तरीके से आगे बढ़ी.