Wednesday, April 23, 2025
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Pahalgam Terror Attack: ‘आतंकियों ने मेरे पिता को कलमा पढ़ने के लिए कहा, फिर बरसा दी गोलियां’, पहलगाम हमले में सुरक्षित बची बेटी ने बयां किया खौफ का मंजर

Pahalgam Terror Attack: पहलगाम आतंकी हमले में मारे गए पुणे के व्यवसायी संतोष जगदाले की बेटी असावरी ने बताया कि आतंकियों ने उनके पिता से पहले धर्म पूछा और फिर कलमा पढ़ने के लिए कहा। जैसे ही उन्होंने मना किया, उन पर गोलियां बरसा दी गईं।

Pahalgam Terror Attack: जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकवादी हमले में मारे गए पुणे के एक व्यवसायी की बेटी ने दावा किया है कि आतंकवादियों ने पुरुष पर्यटकों से उनका धर्म पूछने के बाद उन्हें निशाना बनाया. अधिकारियों ने बताया कि महाराष्ट्र के पुणे से आए 2 व्यापारी संतोष जगदाले और कौस्तुभ गणबोटे को मंगलवार को हुए हमले में गोलियां मारी गईं, जिसके बाद उनकी मौत हो गई.

पिता को खो चुकी बेटी ने बताई खौफ की कहानी

जगदाले 5 सदस्यीय समूह का हिस्सा थे, जिसमें उनकी पत्नी प्रगति, बेटी असावरी, कौस्तुभ गणबोटे और संगीता गणबोटे भी शामिल थे, जो मंगलवार को पहलगाम गए थे. पुणे में एचआर प्रोफेशनल असावरी ने बताया कि उनके पिता और चाचा को आतंकवादियों ने बेताब घाटी में स्थित ‘मिनी स्विट्जरलैंड’ पर गोली मार दी. उन्होंने कहा, ‘वहां कई पर्यटक मौजूद थे, लेकिन आतंकवादियों ने विशेष रूप से पुरुष पर्यटकों को निशाना बनाया और उनसे पूछा कि वे हिंदू हैं या मुस्लिम.’

‘गोलीबारी से बचने के लिए जमीन पर लेट गए’

असावरी ने कहा कि उनका परिवार इस खूबसूरत जगह पर छुट्टियां मनाने के लिए गया था. उन्होंने पास की पहाड़ी से उतर रहे लोगों द्वारा की जा रही गोलीबारी की आवाज सुनी. असावरी ने बताया कि गोलीबारी करने वाले लोगों ने स्थानीय पुलिस के जैसे कपड़े पहने हुए थे. हम तुरंत सुरक्षा के लिए पास के एक तंबू में जाकर छिप गए. 6-7 अन्य (पर्यटक) भी वहां पहुंच गए. हम सभी गोलीबारी से बचने के लिए जमीन पर लेट गए. हमें तब यह लगा कि शायद आतंकवादियों और सुरक्षाकर्मियों के बीच मुठभेड़ हो रही है. आतंकवादियों का समूह पहले पास के एक तंबू के पास आया और उन्होंने गोलीबारी शुरू कर दी.

‘आतंकियों ने मेरे पिता को बाहर आने के लिए कहा’

उसने बताया कि इसके बाद वे हमारे तंबू में आए और उन्होंने मेरे पिता को बाहर आने के लिए कहा. आतंकवादियों ने कहा कि चौधरी तू बाहर आ जा. उन्होंने बताया कि आतंकवादियों ने उनके पिता पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का समर्थन करने का आरोप लगाया और इस बात से इनकार किया कि कश्मीरी आतंकवादी निर्दोष लोगों, महिलाओं और बच्चों की हत्या करते हैं.

‘मेरे पिता से इस्लाम की आयत सुनाने को कहा’

असावरी ने कहा कि फिर उन्होंने मेरे पिता से इस्लाम की एक आयत (संभवतः कलमा) सुनाने के लिए कहा. जब वह नहीं सुना पाए तो उन्होंने मेरे पिता पर 3 गोलियां चला दीं. उन्होंने मेरे पिता के सिर पर, कान के पीछे और पीठ में गोली मारी. मेरे चाचा मेरे बगल में थे. आतंकवादियों ने उन पर 4 से 5 गोलियां चलाईं.”

सेना और पुलिस घटना के 20 मिनट बाद पहुंची

असावरी ने बताया कि आतंकवादियों ने मौके पर मौजूद कई अन्य पुरुषों पर भी गोलियां बरसाईं. मदद के लिए कोई नहीं था, कोई पुलिस या सेना नहीं थी. पुलिस और सेना घटना के 20 मिनट बाद मौके पर पहुंचीं. यहां तक ​​कि स्थानीय लोग भी इस्लामी आयत पढ़ रहे थे.’

असावरी ने कहा, जो लोग हमें टट्टुओं पर लेकर आए थे उन्होंने मेरी, मेरी मां समेत 3 महिलाओं की मदद की. इसके बाद हमारा मेडिकल परीक्षण कराया गया और फिर हमें पहलगाम क्लब में स्थानांतरित कर दिया गया.”

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Premanshu Chaturvedi
Premanshu Chaturvedihttp://jagoindiajago.news
समाचारों की दुनिया में सटीकता और निष्पक्षता के साथ नई कहानियों को प्रस्तुत करने वाला एक समर्पित लेखक। समाज को जागरूक और सूचित रखने के लिए प्रतिबद्ध।
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