Shilpa Shetty Case : मुंबई। बॉलीवुड एक्ट्रेस शिल्पा शेट्टी ने 60 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी के मामले में मुंबई पुलिस के समक्ष दर्ज कराए गए अपने बयान में दावा किया कि उन्होंने अपने पति राज कुंद्रा के साथ मिलकर जिस कंपनी की स्थापना की थी, उसके कामकाज को वह नहीं देखती थीं। एक अधिकारी ने मंगलवार को यह जानकारी दी।
EOW टीम ने 4 घंटे की शिल्पा शेट्टी से पूछताछ
अधिकारी ने बताया कि पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा (ईओडब्ल्यू) की एक टीम ने चार अक्टूबर को अभिनेत्री के आवास पर उनका बयान दर्ज किया और उनसे चार घंटे से अधिक समय तक पूछताछ की। अभिनेत्री ने अपने बयान में में दावा किया कि वह बंद हो चुकी कंपनी बेस्ट डील टीवी प्राइवेट लिमिटेड के मामलों को नहीं देख रही थीं। शेट्टी और उनके पति राज कुंद्रा, होम शॉपिंग और ऑनलाइन खुदरा बिक्री मंच बेस्ट डील टीवी प्राइवेट लिमिटेड के निदेशक थे।
अधिकारी ने बताया कि अभिनेत्री ने अपना बयान दर्ज कराते समय सवालों के जवाब दिए और सहायक दस्तावेज भी प्रस्तुत किए। उन्होंने बताया कि पुलिस अभिनेत्री द्वारा मुहैया कराए गए दस्तावेजों का सत्यापन कर रही है।कुंद्रा और शेट्टी के खिलाफ 14 अगस्त को जुहू पुलिस थाना में व्यवसायी दीपक कोठारी (60) से ऋण-सह-निवेश करार के तहत करीब 60 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी करने का मामला दर्ज किया गया था। ईओडब्ल्यू ने पहले अपनी जांच के सिलसिले में कुंद्रा का बयान दर्ज किया था और इससे पहले अभिनेत्री और उनके पति के खिलाफ लुकआउट सर्कुलर जारी किया था।

जानिए क्या है पूरा मामला?
बता दें कि अगस्त में मुंबई के एक बिजनेसमैन दीपक कोठारी ने शिल्पा शेट्टी और राज कुंद्रा पर 60 करोड़ की धोखाधड़ी के आरोप में एफआईआर दर्ज करवाई है। दीपक कोठारी के मुताबिक, उनकी मुलाकात 2015 में एजेंट राजेश आर्या के जरिए शिल्पा और कुंद्रा से हुई थी। उस समय दोनों बेस्ट डील टीवी के डायरेक्टर थे और शिल्पा के पास कंपनी के 87% से ज्यादा शेयर थे। शिकायत के मुताबिक, एक मीटिंग में तय हुआ कि शिल्पा और राज कुंद्रा की कंपनी को दीपक लोन देंगे। कंपनी के लिए 75 करोड़ रुपए का लोन मांगा था, जिस पर 12% सालाना ब्याज तय हुआ।
दीपक कोठारी का आरोप है कि बाद में शिल्पा और कुंद्रा ने उनसे कहा कि लोन पर टैक्स की परेशानी आ सकती है, इसलिए इसे इन्वेस्टमेंट के रूप में दिखाते हैं और हर महीने रिटर्न देंगे। अप्रैल 2015 में कोठारी ने करीब 31.95 करोड़ रुपए की पहली पेमेंट की। टैक्स से जुड़ी परेशानी जारी रहने पर सितंबर में दूसरी डील हुई और जुलाई 2015 से मार्च 2016 के बीच उन्होंने 28.54 करोड़ रुपए और ट्रांसफर किए। कुल मिलाकर उन्होंने 60.48 करोड़ रुपए दिए, साथ ही 3.19 लाख रुपए स्टांप ड्यूटी के रूप में चुकाए। कोठारी का दावा है कि अप्रैल 2016 में शिल्पा ने उन्हें पर्सनल गारंटी भी दी थी, लेकिन उसी साल सितंबर में उन्होंने कंपनी के डायरेक्टर पद से इस्तीफा दे दिया। इसके बाद शिल्पा की कंपनी पर 1.28 करोड़ रुपए का कर्ज न चुकाने का मामला सामने आया। कोठारी को इसकी कोई जानकारी नहीं थी। उन्होंने कई बार अपने पैसे वापस मांगे, लेकिन कोई जवाब और पैसे नहीं मिले। पहले मामला जुहू पुलिस स्टेशन में धोखाधड़ी और जालसाजी के तहत दर्ज हुआ। चूंकि रकम 10 करोड़ से ज्यादा थी, इसलिए जांच आर्थिक अपराध शाखा (EOW) को सौंप दी गई है। EOW इस केस की जांच कर रही है।