मुंबई। अभिनेता अक्षय कुमार का कहना है कि वह अपने दर्शकों से ऐसी फिल्में बनाने के लिए प्रेरणा चाहते हैं जो सामाजिक बदलाव लाती हो, भले ही सिनेमाघरों पर इन फिल्मों का प्रदर्शन कैसा भी हो। अक्षय कुमार (56) की नई फिल्म मिशन रानीगंज शुक्रवार को सिनेमाघरों में रिलीज हुई है। अभिनेता ने कहा कि हिंदी सिनेमा एक अच्छे दौर से गुजर रहा है जहां व्यावसायिक और सामग्री-आधारित दोनों फिल्में अच्छा कारोबार कर रही हैं।
अक्षय कुमार ने यहां एक समूह साक्षात्कार में कहा हम बहुत अच्छे दौर से गुजर रहे हैं जहां लोग हर तरह की फिल्में कर रहे हैं। मैंने दोनों तरह की फिल्में (कंटेंट और मसाला एंटरटेनर) की हैं। यह सोचकर फिल्म (‘मिशन रानीगंज’) पर दबाव न डालें कि यह कैसा कारोबार करेगी। मैं उस तरह की फिल्म (व्यावसायिक) कर सकता हूं और उस तरह के नंबर भी पा सकता हूं। लेकिन मैं ऐसी फिल्म करके खुश हूं जो समाज में बदलाव लाती है।
अभिनेता ने अपनी फिल्मों – ‘‘टॉयलेट: एक प्रेम कथा’’ (2017) और ‘‘पैडमैन’’ (2018) का उदाहरण दिया और कहा कि जब उन्होंने इन फिल्मों को साइन किया था, तो उनके फैसले को लेकर कई लोगों ने हैरानी जताई थी।
अक्षय ने कहा जब मैंने ‘टॉयलेट: एक प्रेम कथा’ बनाई, तो हर किसी ने मुझसे कहा कि यह किस तरह का शीर्षक है। मुझसे कहा गया, ‘क्या तुम पागल हो? जो शौचालय जैसे विषय पर फिल्म बनाता है। उन्होंने कहा कृपया यह सोचकर मुझे हतोत्साहित न करें कि यह (मेरी फिल्म) क्या कारोबार करेगी। मुझे हिम्मत दीजिए कि कम से कम इस तरह की फिल्में तो बन रही हैं और ऐसी फिल्मों को हम अपने बच्चों को दिखा रहे हैं।
उनकी पिछली फिल्म ‘‘ओएमजी 2’’ नेटफ्लिक्स पर प्रसारित होना शुरू हो गई है और अभिनेता ने कहा कि उन्हें खुशी है कि यह फिल्म अब देश के युवाओं तक पहुंचेगी। यह फिल्म 11 अगस्त को सिनेमाघरों में रिलीज हुई थी। अक्षय ने कहा मैंने इसे युवाओं के लिए बनाया है और मुझे खुशी है कि यह कल नेटफ्लिक्स पर आ रही है। महत्वपूर्ण बात यह है कि लोगों को इसके बारे में पता होना चाहिए।