नई दिल्ली। दिल्ली पुलिस ने एक शिकायत के आधार पर जालसाजी और आपराधिक साजिश का मामला दर्ज किया है, जिसमें हीरो मोटोकॉर्प पर 5.9 करोड़ रुपये के फर्जी बिल बनाने और 55 लाख रुपये से अधिक का कर लाभ लेने का आरोप लगाया गया है। अधिकारियों ने बताया कि यह शिकायत ब्रेन्स लॉजिस्टिक्स प्राइवेट लिमिटेड की ओर से दर्ज कराई गई है और इसमें हीरो मोटोकॉर्प लिमिटेड के साथ-साथ इसके तीन पदाधिकारियों- प्रधान नियोक्ता पवन मुंजाल, अधिकारी विक्रम सीताराम कसबेकर और हरि प्रकाश गुप्ता का नाम शामिल है। साथ ही इसमें एक लेखा परीक्षक का नाम भी शामिल है।
इस घटनाक्रम पर हीरो मोटोकॉर्प ने प्रतिक्रिया जारी करते हुए कहा कि यह एक पुराना मामला है और प्राथमिकी में किसी अधिकारी का नाम नहीं है। बयान में कहा गया कि इस मामले में शिकायतकर्ता एक असंतुष्ट सेवा प्रदाता है। शिकायतकर्ता ने आरोप लगाया कि हीरो मोटोकॉर्प ने मुंजाल और कस्बेकर के साथ मिलकर 2009 और 2010 के लिए कुल 5,94,52,525 रुपये के फर्जी बिल बनाए और इस राशि को अपने खातों में दिखाया। इसके अलावा यह भी आरोप है कि इन बिलों के बदले में 55.51 लाख रुपये का कर लाभ हासिल किया गया।
वसंत कुंज नॉर्थ पुलिस थाने में पांच अक्टूबर को भारतीय दंड संहिता की धारा 463 (धोखाधड़ी), 467 (बहुमूल्य प्रतिभूति, वसीयत की जालसाजी), 468 (धोखाधड़ी के उद्देश्य से जालसाजी) सहित विभिन्न प्रासंगिक प्रावधानों में मामला दर्ज किया गया।
हीरो मोटोकॉर्प ने अपने बयान में कहा यह असंतुष्ट सेवा प्रदाता, ब्रेन्स लॉजिस्टिक्स प्राइवेट लिमिटेड (प्रवर्तक- रूप दर्शन पांडे) से जुड़ा 2009-10 का पुराना मामला है। शिकायतकर्ता ने शिकायत में कंपनी के अधिकारियों के नाम का उल्लेख किया है। हालांकि, प्राथमिकी में किसी अधिकारी का नाम नहीं है। 2013 में हीरो मोटोकॉर्प ने भी उनके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई थी और मामला अदालत में है।