Bihar Election 2025 : बिहार विधानसभा चुनाव 2025 को देखते हुए महागठबंधन ने अपना घोषणापत्र जारी किया है। इस घोषणापत्र का नाम ‘तेजस्वी प्रण’ रखा गया है, जिसका कवर पेज पूरी तरह तेजस्वी यादव की नेतृत्वकारी छवि को दर्शाता है। तेजस्वी यादव की अगुवाई में जारी इस संकल्प पत्र में रोजगार, सामाजिक न्याय, महिला सशक्तिकरण और किसानों के हितों को प्रमुख प्राथमिकता दी गई है। गठबंधन ने कहा कि यह घोषणापत्र केवल एक चुनावी दस्तावेज नहीं, बल्कि समृद्ध, समान और न्यायपूर्ण बिहार के निर्माण का ऐतिहासिक वादा है।
महागठबंधन ने अपने घोषणापत्र में नीतीश कुमार की अगुवाई वाली एनडीए सरकार पर तीखा हमला बोलते हुए आरोप लगाया कि बीते दो दशकों में सरकार की नीतियों ने बिहार को बेरोज़गारी, भ्रष्टाचार और कुप्रशासन की दलदल में धकेल दिया है। ‘तेजस्वी प्रण’ के ज़रिए महागठबंधन ने वादा किया है कि सत्ता में आने पर वह युवा रोजगार, शिक्षा, कृषि सुधार और सामाजिक समानता पर विशेष फोकस करेगा, ताकि बिहार को नए विकास पथ पर आगे बढ़ाया जा सके।
#WATCH पटना, बिहार | आगामी बिहार चुनाव 2025 के लिए महागठबंधन ने 'बिहार का तेजस्वी प्रण' शीर्षक से अपना घोषणापत्र जारी किया। pic.twitter.com/Zab5mKLIcR
— ANI_HindiNews (@AHindinews) October 28, 2025
‘तेजस्वी प्रण’ घोषणापत्र में बड़े वादे :-
हर परिवार से एक नौकरी
महागठबंधन ने वादा किया है कि सरकार बनने के 20 दिन के भीतर ‘एक परिवार, एक नौकरी’ अधिनियम लाया जाएगा। इसके तहत हर परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी दी जाएगी, और 20 महीने के भीतर भर्ती प्रक्रिया शुरू कर दी जाएगी।
मुफ्त बिजली और पेंशन योजना
हर परिवार को 200 यूनिट तक बिजली मुफ्त दी जाएगी। वहीं, वृद्धजन, विधवा और दिव्यांगों के लिए क्रमशः 1,500 से 3,000 रुपए तक मासिक पेंशन का प्रावधान किया गया है।
संविदाकर्मियों को स्थायी दर्जा
सभी संविदा और आउटसोर्सिंग कर्मचारियों को स्थायी किया जाएगा। साथ ही, जीविका दीदियों को सरकारी कर्मचारी का दर्जा और 30,000 रुपए मासिक वेतन देने का वादा किया गया है।
महिलाओं के लिए ‘माई-बहिन मान योजना’
राज्य की महिलाओं को 1 दिसंबर से 2,500 रुपए प्रतिमाह की आर्थिक सहायता दी जाएगी। पांच साल में उन्हें 30,000 रुपए सालाना मदद मिलेगी। इसके अलावा, बेटियों के लिए ‘BETI’ और माताओं के लिए ‘MAI’ योजना शुरू करने की घोषणा की गई है।
पुरानी पेंशन योजना की वापसी
राज्य में ओल्ड पेंशन स्कीम (OPS) को फिर से लागू करने का आश्वासन दिया गया है, जिससे सरकारी कर्मचारियों को स्थायित्व और सुरक्षा मिलेगी।
शिक्षा और रोजगार पर फोकस
प्रत्येक अनुमंडल में महिला कॉलेज और 136 प्रखंडों में नए डिग्री कॉलेज खोले जाएंगे। प्रतियोगी परीक्षाओं के फॉर्म शुल्क समाप्त किए जाएंगे और छात्रों को परीक्षा केंद्र तक मुफ्त यात्रा सुविधा दी जाएगी।
किसानों को एमएसपी की गारंटी
सभी फसलों की न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर खरीद की गारंटी दी जाएगी और मंडियों को फिर से सक्रिय किया जाएगा।
स्वास्थ्य सुरक्षा योजना
हर व्यक्ति को 25 लाख रुपए तक का मुफ्त स्वास्थ्य बीमा देने की घोषणा की गई है। साथ ही, जिला अस्पतालों और मेडिकल कॉलेजों को सुपर स्पेशलिटी सुविधाओं से लैस किया जाएगा।
मनरेगा में बड़ा बदलाव
महागठबंधन ने वादा किया है कि राज्य में मनरेगा मज़दूरी 255 रुपए से बढ़ाकर 300 रुपए प्रति दिन की जाएगी और काम के दिनों की संख्या 100 से बढ़ाकर 200 दिन कर दी जाएगी। इससे ग्रामीण रोजगार को नई मजबूती मिलने की उम्मीद जताई गई है।
आरक्षण का दायरा बढ़ेगा
संकल्प पत्र में OBC, SC/ST वर्गों के लिए आरक्षण प्रतिशत बढ़ाने की घोषणा की गई है। साथ ही, इसे संविधान की नौवीं अनुसूची में शामिल करने का प्रस्ताव रखा गया है, ताकि भविष्य में आरक्षण पर किसी तरह का कानूनी विवाद न हो सके।
भ्रष्टाचार पर ‘ज़ीरो टॉलरेंस’ नीति
महागठबंधन ने अपराध और भ्रष्टाचार पर सख्त ज़ीरो टॉलरेंस नीति अपनाने की घोषणा की है। पुलिस अधिकारियों के लिए निश्चित कार्यकाल तय करने और जवाबदेही की व्यवस्था करने की बात कही गई है, ताकि प्रशासनिक स्थिरता और निष्पक्षता बनी रहे।
अल्पसंख्यकों और वक्फ संपत्तियों की सुरक्षा
घोषणापत्र में वक्फ संशोधन विधेयक पर रोक लगाने और वक्फ संपत्तियों के पारदर्शी प्रबंधन का वादा किया गया है। साथ ही, बौद्ध गया के बौद्ध मंदिरों का प्रबंधन बौद्ध समुदाय को सौंपने की घोषणा कर अल्पसंख्यक समुदायों में भरोसा बढ़ाने की कोशिश की गई है।
एनडीए सरकार पर सीधा हमला
घोषणापत्र जारी करते हुए तेजस्वी यादव ने कहा कि “पिछले 20 वर्षों में बिहार ने सुशासन के नाम पर केवल अन्याय, पलायन और बेरोजगारी देखी है। अब समय है न्यायपूर्ण और नए बिहार के निर्माण का।”




