Bihar Election Result 2025 : पटना। बिहार विधानसभा चुनाव की मतगणना से एक दिन पहले बृहस्पतिवार को राजनीतिक दलों ने अपने स्तर से स्थिति की व्यापक समीक्षा की और आगे की रणनीति को लेकर मंथन किया। इस बीच, पूरे राज्य में निगाहें इस बात पर टिकी हैं कि क्या बिहार में सबसे लंबे समय तक शासन करने वाले मुख्यमंत्री नीतीश कुमार रिकॉर्ड पांचवां कार्यकाल हासिल कर पाएंगे। महागठबंधन के मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार और राष्ट्रीय जनता दल (राजद) नेता तेजस्वी यादव ने दावा किया कि पार्टी कार्यकर्ता और जनता “मतगणना के दौरान किसी भी असंवैधानिक गतिविधि से निपटने के लिए पूरी तरह तैयार” हैं।
राजद के एक अन्य नेता सुनील कुमार सिंह ने चेतावनी दी कि “यदि 2020 की तरह मतगणना में बाधा डाली गई, तो सड़कों पर नेपाल जैसी स्थिति देखने को मिलेगी। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने पलटवार करते हुए कहा कि राजद नेताओं के बयान उनकी “हताशा” को दर्शाते हैं, क्योंकि जनता ईवीएम में अपनी मुहर लगा चुकी है और “एक बार फिर राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) को सत्ता सौंपने का मन बना चुकी है। प्रदेश भाजपा अध्यक्ष दिलीप जायसवाल ने कहा कि वरिष्ठ नेता लगातार मतगणना केंद्रों पर तैनात कार्यकर्ताओं से संपर्क में हैं और उम्मीद है कि जिस तरह मतदान शांतिपूर्ण रहा, उसी तरह मतगणना का दिन भी शांतिपूर्ण रहेगा।
कल रात्रि पार्टी प्रत्याशियों तथा जिला संगठन पदाधिकारियों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंस के ज़रिए मतगणना संबंधित दिशा-निर्देश एवं काउंटिंग की तैयारियों के संबंध में गहन विचार-विमर्श किया।
— Tejashwi Yadav (@yadavtejashwi) November 13, 2025
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तेजस्वी यादव ने प्रत्याशियों और जिला पदाधिकारियों के साथ वर्चुअल बैठक की
तेजस्वी यादव ने ‘एक्स’ पर पोस्ट किया, मतगणना से पहले मैंने पार्टी प्रत्याशियों और जिला पदाधिकारियों के साथ वर्चुअल बैठक की। लोकतंत्र, संविधान और बिहार से प्रेम करने वाले सभी न्यायप्रिय लोग सतर्क, जागरूक और किसी भी अनुचित, असंवैधानिक गतिविधि से निपटने के लिए पूर्ण तैयारी में हैं। उन्होंने कहा, बिहार और बिहारी लोकतंत्र और संविधान बचाने के लिए प्रतिबद्ध हैं। पत्रकारों से बातचीत में सुनील कुमार सिंह ने दावा किया, लोगों ने बदलाव के लिए वोट दिया है। 2025 में तेजस्वी यादव की सरकार बनेगी। 2020 में चार घंटे तक मतगणना रोकी गई थी। यदि इस बार भी ऐसा होता है, तो सड़कों पर नेपाल जैसी स्थिति दिखेगी।

राजद नेताओं के बयानों पर प्रतिक्रिया देते हुए भाजपा की राज्य इकाई के अध्यक्ष दिलीप जायसवाल ने कहा, हम कानून के राज में विश्वास रखने वाली सरकार हैं। राजद नेता हताश हैं और जनता का अपमान कर रहे हैं। जनता ने ईवीएम में अपना फैसला सील कर दिया है। सभी पार्टियां अपनी-अपनी बातें रख रही हैं, लेकिन जनता ने राजग को दोबारा सत्ता में लाने का मन बना लिया है। उन्होंने कहा कि भाजपा के वरिष्ठ नेता मतगणना केंद्रों पर तैनात कार्यकर्ताओं से निरंतर संपर्क में हैं।
काउंटिंग सेंटरों पर सुरक्षा के कड़े इंतजाम
निर्वाचन आयोग के अनुसार, राज्य के 38 जिलों में बनाए गए कुल 46 काउंटिंग सेंटरों पर सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं। छह और 11 नवंबर को दो चरणों में हुए चुनाव में 7.45 करोड़ मतदाताओं ने 2,616 उम्मीदवारों का भाग्य तय किया था। आयोग के बयान के मुताबिक, ईवीएम और वीवीपैट मशीनों को मजबूत कमरों में दोहरे ताले की प्रणाली के तहत सुरक्षित रखा गया है और पूरी प्रक्रिया की वीडियोग्राफी की जा रही है। मतगणना केंद्रों पर दो-स्तरीय सुरक्षा व्यवस्था लागू है, जिसमें भीतरी घेरा केंद्रीय अर्धसैनिक बलों और बाहरी घेरा राज्य पुलिस के जिम्मे है।
सभी मजबूत कमरे परिसरों में नियंत्रण कक्ष स्थापित किए गए हैं जिनमें वरिष्ठ जिला अधिकारी तैनात रहेंगे और संबंधित जिलों के सभी जिला चुनाव पदाधिकारियों तथा रिटर्निंग अधिकारियों को बार-बार निरीक्षण करने के निर्देश दिए गए हैं। लगभग सभी एग्जिट पोल ने जनता दल (यूनाइटेड) और भाजपा के गठबंधन राजग की बड़ी जीत का अनुमान लगाया है। तेजस्वी यादव ने इन अनुमानों को खारिज करते हुए कहा है कि महागठबंधन “बड़ी बहुमत” से सरकार बनाएगा। राजग में जनता दल-यूनाइटेड (जदयू), भारतीय जनता पार्टी (भाजपा), लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास), हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा (हम) और राष्ट्रीय लोक मोर्चा (रालोमो) शामिल हैं। वहीं, महागठबंधन में राजद, कांग्रेस, वाम दल, विकासशील इंसान पार्टी (वीआईपी) और इंडियन इंक्लूसिव पार्टी (आईआईपी) शामिल हैं। दोनों गठबंधनों की ओर से मैदान में उतरे प्रमुख उम्मीदवारों में उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी और विजय कुमार सिन्हा, राजद के तेजस्वी यादव और बिहार कांग्रेस अध्यक्ष राजेश कुमार शामिल हैं।




