Tuesday, November 11, 2025
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Baba Siddiqui Murder Case : मुंबई हाई कोर्ट ने SIT जांच संबंधी पत्नी की याचिका पर पुलिस से जवाब मांगा, राजनीतिक सांठगांठ का आरोप लगाया

मुंबई उच्च न्यायालय ने महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री बाबा सिद्दीकी की पत्नी शहजीन सिद्दीकी की याचिका पर पुलिस से जवाब मांगा है। शहजीन ने अपने पति की हत्या की जांच के लिए एसआईटी गठित करने की मांग की, आरोप लगाया कि पुलिस असली दोषियों को बचा रही है।

Baba Siddiqui Murder Case : मुंबई। मुंबई उच्च न्यायालय ने मंगलवार को शहर पुलिस को महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री बाबा सिद्दीकी की पत्नी शहजीन सिद्दीकी की याचिका पर जवाब देने का निर्देश दिया। बाबा सिद्दीकी की पिछले साल अक्टूबर में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी और उनकी पत्नी ने इस मामले में एसआईटी जांच की मांग की थी। शहजीन ने पिछले हफ्ते दायर अपनी याचिका में कहा कि पुलिस असली दोषियों को पकड़ने में विफल रही है। उन्होंन अपने पति की हत्या के पीछे एक बिल्डर/डेवलपर और राजनीतिक सांठगांठ का आरोप लगाया है। उन्होंने मांग की कि हत्या की जांच के लिए एक विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया जाए।

तीन हमलावरों ने गोली मारकर की थी बाबा सिद्दीकी की हत्या

बाबा सिद्दीकी (66) की 12 अक्टूबर, 2024 की रात को मुंबई के बांद्रा इलाके में उनके बेटे जीशान के कार्यालय के बाहर तीन हमलावरों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी। न्यायमूर्ति ए एस गडकरी और न्यायमूर्ति आर आर भोंसले की पीठ ने मंगलवार को संयुक्त पुलिस आयुक्त (अपराध) और संबंधित जांच अधिकारी को याचिका पर अपने हलफनामे दाखिल करने का निर्देश दिया और मामले की सुनवाई 11 दिसंबर को करना तय किया। जीशान सिद्दीकी का बयान दर्ज किया गया था या नहीं, इस पर कुछ भ्रम होने के बाद अदालत ने पुलिस से अगली तारीख पर जांच की केस डायरी पेश करने को भी कहा।

पुलिस ने दावा किया कि वह जीशान के संपर्क में थी, वहीं याचिकाकर्ता के वकील, प्रदीप घरत और त्रिवनकुमार करनानी ने कहा कि उनका बयान दर्ज नहीं किया गया था। उच्च न्यायालय ने पुलिस के मौखिक आश्वासन को खारिज करते हुए कहा, हमें केस डायरी दिखाएं। आप कहते हैं कि जीशान का बयान दर्ज किया गया है। वह कहते हैं कि यह अभी तक दर्ज नहीं किया गया है। केस डायरी दिखाकर पुष्टि करें। जब राज्य के विशेष लोक अभियोजक महेश मुले ने दलील दी कि पुलिस ने ‘‘कई बार’’ जीशान से संपर्क किया था और उनके पास दिखाने के लिए व्हाट्सएप चैट और कॉल रिकॉर्ड हैं, तो पीठ ने टिप्पणी की, वह संपर्क में हैं या नहीं, हमें कोई मतलब नहीं। हमें कानूनी रूप से स्वीकार्य सबूत दिखाएं। यह एक अपराध की जांच है।

पुलिस ने जानबूझकर मामले में असली दोषियों को गिरफ्तार करने से बचाया : सिद्दीकी

शहजीन सिद्दीकी ने अपनी याचिका में आरोप लगाया कि पुलिस ने जानबूझकर मामले में असली दोषियों को गिरफ्तार करने से परहेज किया है और दावा किया है कि हत्या का आदेश जेल में बंद गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई के भाई अनमोल बिश्नोई ने दिया था। उन्होंने यह भी कहा कि उन्हें अपने पति की मौत के पीछे बिल्डर लॉबी और एक नेता के शामिल होने का पूरा संदेह है। इसी साल जनवरी में पुलिस ने आरोप पत्र दायर किया था और उसमें अनमोल बिश्नोई को वांछित आरोपी के तौर पर दिखाया गया। अभियोजन पक्ष के अनुसार, अनमोल बिश्नोई ने अपराध सिंडिकेट पर भय और प्रभुत्व पैदा करने के लिए बाबा सिद्दीकी की हत्या की साजिश रची। मामले में गिरफ्तार किये गये 26 लोगों के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया गया है। इन सभी पर कड़े महाराष्ट्र संगठित अपराध नियंत्रण अधिनियम (मकोका) के तहत मामला दर्ज किया गया है और वर्तमान में वे न्यायिक हिरासत में हैं।

Mukesh Kumar
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